(विधि संवाददाता) अरविंद कुमार कुशवाहा की रिपोर्ट
प्रयागराज। जहाँ सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का कहना है कि किसी भी सरकारी ऑफिस में निजी (प्राइवेट) कर्मी काम नही करेंगे। अगर ऐसा पाया जायेगा तो कानूनी कार्यवाही की जायेगी। लेकिन इलाहाबाद हाईकोर्ट के महाधिवक्ता कार्यालय में मुख्यमंत्री के आदेश का खुलेआम धज्जियां उड़ाई जा रही है।
दरअसल शिकायत कर्ता रॉबिन श्रीवास्तव ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर शिकायत किया है कि महाधिवक्ता कार्यालय में कुछ निजी कर्मचारी काम करते है। रॉबिन श्रीवास्तव ने पत्र में लिखा है कि ये है अशोक कुमार जो कि महाधिवक्ता कार्यालय, इलाहाबाद में बिना किसी अधिकारिता के सरकारी कुर्सी पर बैठकर, खुद को कार्यालय का निजी सचिव बताकर पुलिस अधिकारियों से एवम राजपत्रित अधिकारियों से न केवल अवैध धन वसूली करते है, बल्कि सरकारी दस्तावेजों के साथ छेड़छाड़, मुकदमे के वादियों को सदोष लाभ हेतु धन की लालच में सरकारी पत्रावलियों को बेचने का कार्य तथा अधिकारियों के गलत शपथपत्र माननीय उच्च न्यायालय में सरकार को हानि पहुंचाने हेतु किया जाता है।
शिकायत कर्ता रॉबिन का कहना है कि इनका गैंग कार्यालय में सक्रिय है। इनकी हरकतों से माननीय उच्च न्यायालय का कार्य भी प्रभावित हो रहा है। मजे की बात तो यह है कि सम्बंधित अधिकारियों को बार बार शिकायत करने के बावजूद भी इनके खिलाफ कोई कार्यवाही नही की जा रही है। प्रस्तुत विडियो में अशोक कुमार पूरे मन से सरकारी कंप्यूटर से किसी विशेष सरकारी अभिलेख को खोज रहे है।
सरकार के मनसा के खिलाफ महाधिवक्ता कार्यालय में कार्य कर रहे कर्मचारियों पर उचित कार्यवाही होनी चाहिये। कियोकि न्याय के मंदिर की गोपनीयता और विश्वास पर कुछ लोगो के वजह से धूमिल हो रही है। अब देखना होगा कि किया शिकायत कर्ता रॉबिन श्रीवास्तव के शिकायती पत्र पर सरकार और हाईकोर्ट किया संज्ञान लेती है या गलत तरीके से सरकारी ऑफिस में काम करने वालो के हौसला बुलन्द होता रहेगा।