शुआट्स में धूमधाम से मनाया गया विश्वविद्यालय दिवस।

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त्रिभुवन नाथ शर्मा की रिपोर्ट


प्रयागराज। सैम हिगिनबॉटम कृषि, प्रौद्योगिकी और विज्ञान विश्वविद्यालय (शुआट्स) में विश्वविद्यालय दिवस धूमधाम से मनाया गया। इस अवसर पर कुलपति प्रोफेसर राजेंद्र बी. लाल के जन्मदिवस पर शिक्षण व शिक्षणेत्तर कर्मचारियों ने उन्हें जन्मदिवस की बधाई भी दी। समारोह में कुलपति प्रो. राजेन्द्र बी. लाल द्वारा विश्वविद्यालय के विकास के लिये दिये गये उनके योगदान व उनकी अटूट निष्ठा और सेवा को सम्मानित किया गया।


कार्यक्रम की शुरुआत विश्वविद्यालय के चौपलिन लाल चुंग गंगटे द्वारा प्रार्थना के साथ हुई। विश्वविद्यालय क्वायर ने ‘ग्रेट इज़ दाई फेथफुलने’ तथा ‘धन्यवाद तू प्रभु का कर’ भजन की प्रस्तुति दी। प्रति कुलपति (प्रशासन) प्रोफेसर बिश्वरूप मेहरा ने कुलपति प्रो. आर.बी. लाल को एवं कुलसचिव प्रो. रानू प्रसाद ने विश्वविद्यालय की प्रथम महिला डा. सुधा लाल को पुष्पगुच्छ देकर सम्मानित किया।

 

 

अपर कुलसचिव प्रो. सी. जॉन वेस्ली ने प्रोफेसर आर.बी. लाल के जीवन और उपलब्धियों को साझा करते हुए कहा कि कुलपति प्रो. आर.बी. लाल जब अमेरिका में वरिष्ठ वैज्ञानिक पद पर कार्य कर रहे थे तो उन्होंने परमेश्वर की आवाज को महसूस किया और प्रतिष्ठित वैज्ञानिक पद छोड़कर इलाहाबाद एग्रीकल्चल इन्स्टीट्यूट को ज्वाइन किया और कठिन समस्याओं का सामना करते हुए इस संस्थान को डीम्ड विश्वविद्यालय का दर्जा दिलाया और वर्तमान में यह पूर्ण राज्य विश्वविद्यालय बना।


कुलसचिव प्रो. रानू प्रसाद ने इलाहाबाद एग्रीकल्चरल इंस्टीट्यूट से राज्य विश्वविद्यालय बनने तक की यात्रा का वर्णन करते हुए विश्वविद्यालय की उपलब्धियों को साझा किया तथा कुलपति प्रो. आर.बी. लाल के अकादमिक स्वतंत्रता के दृष्टिकोण पर जोर दिया गया।


प्रति कुलपति (शैक्षिक) प्रो0 जोनाथन ए लाल ने विश्वविद्यालय के विकास के लिए कुलपति प्रो. राजेन्द्र बी. लाल के बलिदानों व उनके समपर्णता को बताया। प्रति कुलपति (पीएमडी) प्रो. सर्वजीत हर्बर्ट ने विश्वविद्यालय के लिए प्रार्थना की और शुआट्स परिवार की ओर से कुलपति को जन्मदिन की शुभकामनाएं दीं।

 

 

कुलपति प्रोफेसर राजेंद्र बी. लाल ने सभी को विश्वविद्यालय दिवस की बधाई दी। उन्होंने कहा कि उन्होंने परमेश्वर पर विश्वास करते हुए संस्थापक के दर्शन ‘‘भूखे को भोजन’’ व ‘भूमि की सेवा’ के सिद्धान्त पर कार्य किया। उन्होंने कहा कि सफलता के लिये व्यक्ति में कठिन परिश्रम और दृढ़निष्ठा होना अत्यन्त आवश्यक है।


संचालन प्रो. डा. आशीष एलेक्जेंडर ने किया। इस अवसर पर समस्त निदेशकगण, शिक्षक व शिक्षणेत्तर कर्मचारीगण एवं छात्र-छात्रायें उपस्थित रहे।

AT Samachar
Author: AT Samachar

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